
चकिया कर्मनाशा सिस्टम की नहर कई दिनों से टूटी हुयी जिसके कारण नहर नहीं चल पा रहा था. जिसके कारण नहर नहीं चलने से किसानों के खेत को पानी नहीं मिल पा रहा हैं. किसानों की समस्या को देखतें हुए राइट कर्मनाशा सिस्टम के तहत निकलने वाली नहर जो लतीफ़ शाह वीयर से 500 मीटर उत्तर में टूट गयी है. उसको तत्काल मरम्मत कर नहर को फुल गेज से चलाने की मांग को लेकर किसान विकास मंच के संगठन प्रभारी राम अवध सिंह व मजदूर किसान मंच के प्रभारी अजय राय के नेतृत्व में सहायक अभियंता पी० एन० सिंह व जेई कविराज यादव को उनके कार्य स्थल पर जाकर ज्ञापन दिया गया. किसानों ने नहर की मरम्मत व देखभाल तथा पेट्रोलिंग करने की मांग किया है. उन्होंने कहा कि कर्मनाशा सिस्टम की राइट नहर तीन जून से बंद पड़ी हैं. कमांड एरिया में धूल उड़ी रही हैं. खेत सूखे हैं जबकि खेती के ऐन वक्त पर नहरों में पानी नहीं है. सिचाई विभाग के अधिकारियों ने तत्काल नहर को मरम्मत कर फुल गेंज से चलाने का आश्वासन दिया. किसान नेताओं ने चकिया सिंचाई विभाग के कार्यालय पहुँच कर उच्च अधिकारियों से चकिया में न रहने पर आपत्ति दर्ज की गई. चेतावनी दिया गया कि अगर ये अधिकारी कार्यालय में नहीं रह कर किसानों के सवालों को हल करेंगे तो उनके कार्यालय में किसान तालाबंदी कर दी जाएंगे. किसानों के सवालों पर अधिकारियों के गम्भीर न होने का मतलब है कि इस योगी सरकार की राज में किसान के सवालों की अनदेखी हो रही है. इनके शासन में अधिकारी बेलगाम हो चुकें है. सिचाई विभाग के बंधी डिवीजन का कार्यालय कर्मचारियों के आरामगाह बन गया है. टेबल व बेंच पर कर्मचारी कार्यालय समय में सोये नजर आते हैं. मनरेगा के तहत कराये जा रहे कई काम बंधी डिवीजन द्वारा केवल खानापूर्ति की गई है. और सभी भ्रष्टाचार के चपेट में हैं. वही राइट कर्मनाशा सिस्टम से ही निकली नहर जंगलपुर झाल के पास टूटी है, जिस पर सिचाई विभाग के अधिकारियों की नजर नहीं जा रही हैं, उसे तत्काल मरम्मत कराया जाय.