किसानों पर जारी दमन, आंदोलन को बदनाम करने, किसान नेताओं, पत्रकारों व बुद्धिजीवियों पर देशद्रोह जैसी धाराओं में मुकदमें दर्ज करने के खिलाफ आज संयुक्त किसान मोर्चा के आहवान पर आल इंडिया पीपुल्स फ्रंट ने दमन विरोधी दिवस मनाया।
हाईलाइट्स:
● आईपीएफ ने दमन विरोधी दिवस पर किया प्रतिवाद, सरकार पर बोला हमला
● महामहिम राष्ट्रपति महोदय को पत्र भेजकर तीनों काले कृषि कानूनों सहित अन्य जन विरोधी कानूनों को वापस लेने की मांग
ब्रेकिंग न्यूज़, चकिया / चन्दौली। किसानों पर जारी दमन, आंदोलन को बदनाम करने, किसान नेताओं, पत्रकारों व बुद्धिजीवियों पर देशद्रोह जैसी धाराओं में मुकदमें दर्ज करने के खिलाफ आज संयुक्त किसान मोर्चा के आहवान पर आल इंडिया पीपुल्स फ्रंट ने दमन विरोधी दिवस मनाया।
इस मौके पर हुए कार्यक्रम में राष्ट्रपति महोदय को पत्र भेजकर तीनों काले कृषि कानूनों को वापस लेने, न्यूनतम समर्थन मूल्य पर किसानों की फसल खरीद के लिए कानून बनाने, यूएपीए, एनएसए, देशद्रोह जैसे काले कानूनों को खत्म करने, आंदोलन में गिरफ्तार सभी किसानों को बिना शर्त रिहा करने, किसान नेताओं पर लगाए सभी मुकदमें वापस लेने, राजनीतिक सामाजिक कार्यकर्ताओं पर हमले पर रोक लगाने और असहमति के अधिकार की रक्षा करने जैसी मांगों को उठाया गया।
दमन करने के बजाए किसानों से वार्ता करे भाजपा सरकार
आइपीएफ के राज्य कार्य समिति सदस्य अजय राय ने कहा कि पर्यावरण कार्यकर्ता दिशा रवि को दिल्ली जिला न्यायालय द्वारा जमानत मिलने पर खुशी जाहिर करते हुए कहा कि किसान आंदोलन को बदनाम करने और उसका दमन करने का सरकार का हर प्रयास विफल होता जा रहा है। किसानों के जारी आंदोलन को मिल रहे भारी समर्थन ने देश में मोदी सरकार द्वारा तानाशाही थोपने की कोशिशों पर विराम लगाने का काम किया है।
सरकार को चाहिए कि वह कारपोरेट हितों के लिए किसानों पर दमन करने के बजाए किसानों से वार्ता करें और किसानों के सवालों को हल करे।
प्रयागराज में रोजगार मांग रहे युवाओं के गिरफ्तारी की निंदा
आइपीएफ नेता ने इलाहाबाद में रोजगार के सवाल पर आंदोलनरत युवा मंच संयोजक राजेश सचान व अध्यक्ष अनिल सिंह समेत सैकड़ों छात्रों व युवाओं की गिरफ्तारी की कड़े शब्दों में निंदा की है।