जेडीयू नेता ने अब मुस्लिम पक्ष से भी पांच एकड़ जमीन देने की अपील की है | कहा- इतिहास में ऐसे कई उदाहरण हैं जो बताते हैं कि हिंदू और मुस्लिम शासकों ने एक-दूसरे के समुदाय ने धार्मिक स्थल बनवाए |
'मुस्लिम पक्ष को कम से कम 5 एकड़ जमीन छोड़नी चाहिए', राम मंदिर निर्माण के बीच अब जेडीयू नेताओं ने क्या कहा?
पटना | जेडीयू ने राम मंदिर पर जेडीयू के वरिष्ठ नेता और विधान परिषद सदस्य प्रो. गुलाम गौस ने कहा कि भगवान राम का विरोध और उनके नाम पर राजनीति दोनों ही गलत हैं | आम लोगों को इन दोनों शक्तियों से सावधान रहना चाहिए। भारत की पहचान भगवान राम से है, सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर वहां मंदिर बनाया जा रहा है|
उन्होंने सोमवार को यहां कहा कि सद्भावना के तौर पर मुस्लिम पक्ष को मंदिर के पास मस्जिद निर्माण के लिए दी गई पांच एकड़ जमीन छोड़ देनी चाहिए, ताकि उसमें श्रद्धालुओं के लिए विश्राम गृह बनाया जा सके |
' यह भी सुनिश्चित करना चाहिए केंद्र सरकार को...'
गौस ने कहा कि केंद्र सरकार को पूजा स्थल अधिनियम, 1991 का पालन करना चाहिए, जिसमें प्राचीन धार्मिक स्थलों की यथास्थिति बनाए रखने का प्रावधान है। केंद्र सरकार को यह भी सुनिश्चित करना चाहिए कि अयोध्या के बाद किसी अन्य शहर में किसी भी धार्मिक स्थल पर कोई विवाद नहीं होगा।
'इतिहास में ऐसे कई उदाहरण हैं...'
उन्होंने कहा कि इतिहास में ऐसे कई उदाहरण हैं जो बताते हैं कि हिंदू और मुस्लिम शासकों ने एक-दूसरे समुदायों ने धार्मिक स्थल बनाए।