अगर आपके खाते में अचानक पैसे आ गए, तो आपको तुरंत पुलिस को इसकी सूचना देनी चाहिए। ऐसा न करने पर आप मुसीबत में फंस सकते हैं।
नई दिल्ली / पूर्वांचल न्यूज़ प्रिंट। अगर आपके खाते में अचानक पैसे आ गए, तो आपको तुरंत पुलिस को इसकी सूचना देनी चाहिए। ऐसा न करने पर आप मुसीबत में फंस सकते हैं। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने एक व्यक्ति को जेल जाने से बचाने से इनकार कर दिया।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि खाते में 20 लाख रुपये आने के बाद व्यक्ति ने पुलिस को इसकी सूचना देने में चार महीने लगा दिए। यह पैसा साइबर क्राइम से आया था। बिहार के नवादा के शिवनगर गांव के निवासी ने सुप्रीम कोर्ट में अग्रिम जमानत मांगी थी।
साइबर धोखाधड़ी के एक मामले में दिल्ली पुलिस ने व्यक्ति को तलब किया है। व्यक्ति ने बताया कि उसके खाते का इस्तेमाल उसके किराएदार ने किया। किराएदार ने लोन दिलाने के बहाने उसका अकाउंट हैक कर लिया।
रिपोर्ट के मुताबिक याचिकाकर्ता का दावा है कि उसके खाते का दुरुपयोग किया गया। अधिवक्ता राकेश सिंह ने बताया कि उनका मुवक्किल दिल्ली पुलिस के समक्ष पेश हुआ है और जांच में सहयोग कर रहा है। उसने सारी जानकारी भी मुहैया कराई है। कोर्ट ने पूछा कि उसके मुवक्किल को पैसे कब मिले और उसने पुलिस को कब सूचित किया।
इस संबंध में अदालत को बताया गया कि शिकायतकर्ता ने करीब चार महीने बाद पुलिस को इसकी जानकारी दी। पिछले साल सितंबर में उसके खाते में पैसे आए और व्यक्ति ने जनवरी में पुलिस से संपर्क किया। अदालत ने कहा कि शिकायतकर्ता को मुआवजा नहीं दिया जा सकता और उसके दावे को खारिज कर दिया। इस मामले में एक ही दिन में अलग-अलग जगहों से कई बार उसके खाते में पैसे ट्रांसफर किए गए।
यह रकम 5 करोड़ रुपये से ज्यादा थी। अलग-अलग ट्रांजेक्शन के लिए 13 मामले दर्ज किए गए। इनमें से एक दिल्ली से 20 लाख रुपये की साइबर धोखाधड़ी का मामला था। उसके खाते में जमा 20 लाख रुपये चंद घंटों के भीतर तीन अन्य खातों में ट्रांसफर कर दिए गए। अभियोजन पक्ष ने कहा है कि शिकायतकर्ता को एक व्यक्ति ने 20 लाख रुपये ट्रांसफर करने का लालच दिया था। जांच के दौरान पता चला कि यह रकम बिहार में याचिकाकर्ता के बैंक खाते में ट्रांसफर की गई थी।