ईसीआरकेयू के सभी छह शाखाओं के द्वारा नये महाप्रबंधक पूर्व मध्य रेल हाजीपुर अनूपम शर्मा को एक स्मार पत्र सौंपा।
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रेल प्रबंधक को फूल भेंटकर स्वागत करते हुए, फोटो-pnp |
संजय कुमार तिवारी, सासाराम (रोहतास)। गया से डीडीयू जंक्शन तक विंडो ट्रेलिंग निरीक्षण करते हुए डीडीयू पहुंचने पर ईसीआरकेयू के सभी छह शाखाओं के द्वारा नये महाप्रबंधक पूर्व मध्य रेल हाजीपुर अनूपम शर्मा को एक स्मार पत्र सौंपा।
डीडीयू, भभूआ, सासाराम, डेहरी, जपला, गया, बिक्रमगंज, औरंगाबाद सहित मंडल के कई स्टेशनों पर नये आवास निर्माण एवं सफाई व्यवस्था को सुदृढ़ करनेकी मांग रखी। ईसीआरकेयू के केन्द्रीय कार्यकारी अध्यक्ष सह पीएनएम प्रभारी मिथिलेश कुमार के नेतृत्व में यूनियन सी ओ बी केदार प्रसाद, बीबी पासवान एवं रमेश चंद्रा ने महाप्रबंधक को दिए मांग पत्र में कहा है कि डीडीयू मंडल में रेल आवासों का मरम्मत के लिए पर्याप्त कोष का उपलब्ध नहीं होने के कारण विगत कई वर्षों से मरम्मत कार्य बंद है।
विशेष रुप से डीडीयू मंडल स्थित सासाराम, डेहरी, गया, जपला, भभूआ, डीडीयू मानस नगर कॉलोनी, गया कॉलोनी, डीजल कॉलोनी, पीडी कॉलोनी, हापड कॉलौनी, सेन्ट्रल कॉलोनी एवं गया स्थित खरखुरा कॉलोनी मार्शलिंग यार्ड कॉलोनी लोको कॉलोनी के साथ-साथ इंस्पेक्टर कॉलोनियों की भी स्थिति खराब है। साथ ही कॉलोनियों के नालों का साफ-सफाई भी नहीं हो पा रही है, जिसके कारण नालियों का गंदा पानी क्वार्टरों में घुस जा रहा है। जिससे रेलवे कर्मचारियों को स्वास्थ्य की चिंता सता रही है।
विशेषकर बरसात के दिनों में नालों की पानी की वजह से संक्रमण फैलने का डर बना रहता है। जो करने जेल आवास में रह रहे हैं वह एच एच आर ए नहीं मिलने से डर से मजबूरी में रहते हैं आता है वैसे झज्जर आवास जिनका कोडल लाइफ समाप्त हो चुका है उनको रद्द कर आधुनिक कौन सी बनाने की निर्णय हर कॉलोनियां को लिए लिया जाना चाहिए।
रेल आवासों का डे टू डे मरम्मत का कार्य विभागीय संसाधन से होना संभव नहीं प्रतीत हो रहा है। अतः किसी दूसरे माध्यम या एजेंसी से करवाया जाए। डी डी यू मंडल अंतर्गत सभी कॉलोनियों की साफ-सफाई जल्द से जल्द कंप्रिहेंसिव क्लीनिंग का योजना बनाकर लागू किया जाए।
ईसीआरकेयू ने अपने पत्र में रेल अनुमंडल अस्पताल गया और डेहरी आन सोन में एक सर्जन एक नेत्र चिकित्सालय एक पर गायनोकोलॉजिस्ट एक फिजीशियन एक ईएनटी एवं एक फिजियोथैरेपिस्ट डॉक्टर पदस्थापित करने की मांग की है तथा कहा है कि होना गया अस्पताल में आकस्मिक इलाज एवं पैथोलॉजिकल जांच लगभग 6 वर्षों से स्थानीय स्तर पर इंपैनलमेंट नहीं किए जाने के कारण बंद है जिसके कारण आकस्मिक स्थिति में निजी अस्पतालों मैं अपने पैसों से इलाज कराने के लिए लगभग 10,000 की संख्या में रेल कर्मचारी एवं उसके आश्रित मजबूर हैं। डी डीयू मंडल अंतर्गत पॉइंट्स मैन का विभागीय परीक्षा द्वारा गार्ड में फाइनल चयन होने के बाद भी उनकी पोस्टिंग नहीं हो पा रही है जिसे अभिलंब कराया जाए।
प्लान्ट डिपो इंजीनियरिंग कारखाना स्थित ट्रैक मशीन लाईन में साइडिंग पर बिजली, पानी, शौचालय ,पाथवे की सुविधा मुहैया कराने की मांग किया गया। जिस पर महाप्रबन्धक ने अविलंब समस्याओं का निराकरण करने का आश्वासन दिया।