चंदौली में सड़क निर्माण का सच: गिट्टी फेंक कर एक साल से भूला है शासन-प्रशासन

चंदौली में सड़क निर्माण का सच: गिट्टी फेंक कर एक साल से भूला है शासन-प्रशासन

चंदौली प्रशासन एक साल से खगवल मड़ई बस्ती से लेकर फगुईयां रोड तक तकरीबन डेढ़ किलोमीटर तक सड़क गिट्टी बिछाकर छोड़ दिया है।

खराब सड़क को दिखाता एक ग्रामीण, फोटो:pnp

चन्दौली। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में बैठे मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री
भले ही जनपदों में चमचमाती सड़कों के निर्माण का दावा करें लेकिन सच्चाई यह है कि चंदौली प्रशासन एक साल से खगवल मड़ई बस्ती से लेकर फगुईयां रोड तक तकरीबन डेढ़ किलोमीटर तक सड़क गिट्टी बिछाकर छोड़ दिया है। स्थिति है कि उस मार्ग पर पैदल चलना भी मुश्किल हो गया।

जब सड़क के निर्माण की प्रक्रिया शुरू हुई तो बहुत खुश हुए थे गांव वाले

 गांव के जय नारायण यादव, सुरेंद्र पासवान, प्यारे राम, दुलारे यादव, रामकुमार, प्रदुम्न पासवान कहते हैं कि तकरीबन एक साल पहले जब इस सड़क के निर्माण की प्रक्रिया शुरू हुई तो ग्रामीण बहुत ही खुश हुए। उनमें ऐसी उम्मीद जगी कि योगी की सरकार के कार्यकाल मे गांव से सड़क तक जाने के लिए एक चमचमाती सड़क मिल जाएगी, जिस पर आराम से वह आ जा सकेंगे। उन्हें किस तरह के हादसे तो वह अन्य परेशानी का डर नहीं रहेगा। मगर यहां उससे ठीक उल्टा हुआ, इस मार्ग पर बड़ी-बड़ी गिट्टियां डालकर छोड़ दिया गया है। 


ग्रामीण आए दिन इस पर गिरकर चोटिल हो रहे हैं। लोग गिट्टी गिराने वाले ठेकेदार को ढूंढते फिर रहे हैं और लोग लोक निर्माण विभाग व अन्य एजेंसियों को ढूंढ रहे हैं। सड़क के निर्माण व मरम्मत को लेकर कई बार विभागीय अफसरों से शिकायत भी कर चुकें हैं लेकिन वे अपने कानों में तेल डाल कर बैठे हुए हैं। वे न सुनते हैं और न ही उन्हें दिखाई देता है। रही बात जिले के आला अफसरों की तो उन्हें अन्य कामों से फुर्सत ही नहीं है कि वे इस ओर ध्यान दें।

 सड़क निर्माण क्यों न बने कानून व्यवस्था का सवाल?

अगर सड़क के निर्माण को लेकर ग्रामीण चक्का जाम व अन्य धरना प्रदर्शन करें तो कानून व्यवस्था का सवाल उठ खड़ा होगा। पुलिस उन्हें जेल भेजने की बात करेगी। आखिर जिस सड़क पर एक साल से गिट्टी डाल कर छोड़ दिया गया हो और लोगों को आने जाने में परेशानी हो रही है। तब ग्रामीण इस सवाल के हल के लिए आखिर क्या करेंगे। स्थिति तो यह है कि अगर चुनाव के पहले तक सड़क का निर्माण पूरा नहीं हुआ तो ग्रामीण वोट व इलेक्शन बहिष्कार का रास्ता भी अख्तियार कर सकते हैं।

 आखिर कौन लेगा इस सड़क की सुधि?

चंदौली सांसद केंद्रीय मंत्री डॉक्टर महेंद्र नाथ पांडे, भाजपा के विधायक सुशील सिंह, साधना सिंह सहित जनपद के प्रभारी मंत्री रमाशंकर पटेल जिले के सड़कों की मरम्मत व गड्ढा मुक्त करने को लेकर जब भाषण देते हैं तब सुनने में बहुत अच्छा लगता है लेकिन क्षेत्र के ग्रामीणों को इस सड़क की बदहाल हालत देखकर इन नेताओं को कोसते ही बीत रहा है। उन्हें आज भी सड़क के निर्माण होने की उम्मीद है। रही बात इस क्षेत्र सकलडीहा विधायक प्रभु नारायण यादव की तो वे कुछ दिनों पूर्व ही उन्होंने जनपद की सड़कों की दुर्दशा को लेकर जिलाधिकारी को ज्ञापन दिया था।

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