सीपीएस पद्धति समाप्त करने के लिए किसानों का विरोध प्रदर्शन 15 मार्च को

सीपीएस पद्धति समाप्त करने के लिए किसानों का बड़ा प्रदर्शन 15 मार्च को
अफीम की फसल का बीमा तथा ओलावृष्टि से हुए नुकसान का आंकलन करने, मुआवजा देने की मांग को लेकर 15 मार्च को बड़ा विरोध प्रदर्शन करेंगे।

श्यामलाल जोंक चन्द जी, फोटो-PNP

● नारकोटिक्स विभाग का घेराव करेंगे सैकडों किसान

●भारतीय किसान अफीम संघर्ष समिति को कांग्रेस ने दिया समर्थन

नीमच, मध्य प्रदेश। अफीम काश्तकार सीपीएस पद्दति तुरंत प्रभाव से समाप्त करने और अफीम की फसल का बीमा तथा ओलावृष्टि से हुए नुकसान का आंकलन करने, मुआवजा देने की मांग को लेकर 15 मार्च को विरोध-प्रदर्शन करेंगे।

 नीमच, मंदसौर, चित्तोडगढ सहित मध्यप्रदेश तथा राजस्थान जिले के सैकडों किसान एकत्रित होंगे और नारकोटिक्स कार्यालय का घेराव करेंगे। बीते रविवार को कृषि उपज मंडी  परिसर में किसानों की बैठक हुई। बैठक में कांग्रेस नेता उमरावसिंह गुर्जर, मल्हारगढ विधानसभा से श्यामलाल जोकचंद, श्रीमति मधु बंसल और तरूण बाहेती ने भी भाग लिया और किसानों की मांग का समर्थन करते हुए विरोध प्रदर्शन में अधिक से अधिक कांग्रेस कार्यकर्ताओं द्वारा भाग लिए जाने की बात कही। 

कांग्रेस नेता श्यामलाल जोकचंद ने कहा कि परम्परागत अफीम खेती को मार्फिन की आड में सीपीएस पद्दति को थोप दिया है। किसानों के खेतों में अफीम खडी है और किसान बडी दुविधा में है, तुरंत सीपीएस पद्दति को समाप्त किया जाना चाहिए। देश में सभी फसलों का बीमा होता है, लेकिन अफीम एकमात्र फसल ऐसी है, जिसका बीमा नहीं किया जाता है और ऐसे में नुकसान होता है तो नारकोटिक्स विभाग से लेकर सरकार पल्ला झाड़ लेती है।

 बीते दिनों ओलावृष्टि और बारिश से अफीम की फसल चौपट हो गई है, जिसका आंकलन शुरू नहीं किया गया है।  किसान लगातार मांग कर रहे है, लेकिन केंद्रीय नारकोटिक्स विभाग द्वारा ध्यान नहीं दिया जा रहा है। 15 मार्च को फव्वारा चौक पर सुबह 11 बजे सैकडों किसान पहुंचेगे और पैदल मार्च  के रूप में राजस्व कॉलोनी स्थित नारकोटिक्स कार्यालय पहुंचकर विरोध प्रदर्शन करेंगे। श्री जोकचंद ने अधिक से अधिक संख्या में किसान बंधुओं से कार्यक्रम में भाग लेने की अपील की है।

 बैठक में भारतीय किसान अफीम संघर्ष समिति के अध्यक्ष मांगीलाल बिलोट, रघुनंदन शर्मा, दशरथ डांगी, डॉ रामचंद्र डांगी भगौर, ओमप्रकाश चौबिसा, दिनेश गुर्जर,बहादुरसिंह चंद्रावत, गोपाल सोनगरा साहित कई किसान मौजूद थे।
Purvanchal News Print की यह खबर आपको को कैसी लगी, कमेंट बॉक्स में अवश्य बताएं। खबर टॉपिक को अपना सुझाव दें