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प्रतीकात्मक फोटो: स्रोत Google |
चकिया/चन्दौली: पूरे यूपी में आपदा में भी अवसर की तलाश में चन्दौली का नाम भी सूची में जुड़ गया है. इस जनपद में थर्मल स्कैनर की खरीद में लाखों की हेराफेरी की जांच को चन्दौली प्रशासन से कराये जाने का खेल घोटाले में लिप्त लोगों को बचाने की कोशिश है. स्वराज अभियान व आईपीएफ के प्रदेश प्रवक्ता अजय राय ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को ईमेल के माध्यम से पत्र भेंज कर शासन स्तर से जांच कराने व वित्तीय नियमों की अनदेखी करने वाले पर सख्त से सख्त कार्रवाई किये जाने की मांग की है.
ये कहते हैं कि जहां हर कोई कोरोना महामारी से जूझ रहा हैं लेकिन आपदा के समय भी भ्रष्टाचार व लूट करने का अवसर चन्दौली में ईमानदारी की खोल ओढ़ने वाले अधिकारियों ने ढूढ लिया. उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार के एक आदेश के तहत गांव में गठित निगरानी समिति के सदस्य आशाओं को ग्राम पंचायत द्वारा एक पल्स ऑक्सीमीटर, एक इंफ्रारेड थर्मामीटर क्रय करना था लेकिन इसमें खरीद में वित्तीय नियम का खुलेआम उल्लंघन कर एक ही फर्म से निविदा लेकर खरीद की गई. और केंद्रीकृत द्वारा थर्मामीटर की आपूर्ति जिला पंचायत राज अधिकारी के कार्यालय के वरिष्ठ लिपिक डीपीआरओ, बीडीओ और सहायक विकास अधिकारी की मिलीभगत से आपूर्ति विकास खंडों को वास्तविक मूल्य से अधिक की खरीद की हुई है. जिसकी जांच को लेकर वाराणसी मंडल के उपनिदेशक पंचायत ने जिलाधिकारी चन्दौली का पत्र भी लिखा, लेकिन जिस जनपद के अधिकारियों की मिलीभगत से ही यह वित्तीय हेराफेरी हो रही है उसी जनपद के अधिकारियों से जांच कराना कहीं से भी न्याय संगत और निष्पक्ष नहीं कहा जा सकता है. श्री राय ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से तत्काल प्रभाव से संज्ञान में लेकर शासन स्तर से इस घोटाले की जांच कराने की मांग की है ताकि निष्पक्ष जांच हो सके और दोषी लोगों पर कार्रवाई किया जा सके. रिपोर्ट:श्रीराम तिवारी