
दुर्गावती (कैमूर)। प्रखंड परिसर में आधार कार्ड बनाने के लिए ग्रामीणों की लंबी कतारें लग रही हैं। जहां सोशल डिस्टेंसिंग की बात तो दूर हैं, लाइन में खड़े होने से ग्रामीणों का पसीना छूट रहा है।
ग्रामीणों ने बताया कि आधार कार्ड बनाने के नाम पर अवैध वसूली किया जा रहा है। प्रति व्यक्ति आधार कार्ड बनाने का फीस ₹50 लिया जाता था लेकिन अब प्रशासन के मिलीभगत से ₹100 व 200 ग्रामीणों से लिया जा रहा है और एक सप्ताह दौड़ने के बाद आधार कार्ड बनाया जाता है।
सुबह से शाम तक लंबी लाइनें लगी रहती है । घंटों महिलाएं पुरुष लाइन में खड़े रहते थक हार कर घर वापस चले जाते हैं। और नहीं उनका आधार कार्ड नहीं बन पा रहा है।
समय से आधार कार्ड लेकिन वहीं दूसरी तरफ आधार कार्ड बनवाने वाले कर्मचारी चेहरा पहचान पर आधार कार्ड बनाने में लगे हुए हैं और जब जनता इसका विरोध करती है तो जेल भेजने का धमकी दिया जाता है।
जबकि दुर्गावती प्रखंड में दर्जनों पदाधिकारियों के सामने खुलेआम आधार कार्ड के नाम पर दलालों के माध्यम से अवैध वसूली कराई जा रही है लेकिन किसी पदाधिकारियों का ध्यान इस तरफ नहीं जाता है।
ग्रामीणों ने नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि आधार कार्ड बनाने वाले कर्मचारी ढाक के तीन पाच करते नजर आते हैं। किसी से 200 तो किसी से एक सौ रुपए की अवैध वसूली की जाती है और जो व्यक्ति ₹200 देता है उसका सबसे पहले आधार कार्ड बना कर छोड़ दिया जाता है और जो पैसा नहीं देते हैं उनको घंटों क्या सप्ताह भर ब्लॉक का चक्कर लगाना पड़ता है।
source: संजय मल्होत्रा