अब डिजिटल मीडिया के पत्रकारों को भी अखबार और चैनल जैसी सुविधा शीघ्र!

अब डिजिटल मीडिया के पत्रकारों को भी अखबार और चैनल जैसी सुविधा शीघ्र!

सांकेतिक फोटो

 नई दिल्ली।अब डिजिटल मीडिया के पत्रकारों को भी मिलेगा अखबार और चैनलों की तर्ज पर लाभ मिलेगा, इसके लिए सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय मंथन कर रहा है। 

मंत्रालय सूत्रों ने बताया कि फिलहाल पारंपरिक मीडिया यानी प्रिंट एवं टीवी को जो लाभ दिए गए हैं वह भविष्य में उन्हें उन निकायों को भी देने पर विचार किया जा रहा है जो डिजिटल माध्यम से खबरों की अपलोडिंग या स्ट्रीमिंग में लगे हुए हैं। 

मोदी सरकार का कहना है कि डिजिटल मीडिया को भी जल्द ही वैसी सुविधाओं को दिया जाएगा।

केंद्र सरकार ने कहा है कि वह डिजिटल मीडिया निकायों के पत्रकारों, फोटोग्राफरों और वीडियोग्राफरों को पीआईबी मान्यता जैसे लाभ देने पर विचार करेगी।

यही नहीं सरकार ने यह भी कहा है कि वह इन पत्रकारों, फोटोग्राफरों, वीडियोग्राफरों को आधिकारिक संवाददाता सम्मेलन में भागीदार की पहुंच देने पर भी गौर करेगी।  सरकार ने डिजिटल मीडिया निकायों से अपने हितों को आगे बढ़ाने और सरकार के साथ संवाद के लिए स्वयमन नियमन संस्थाओं का गठन करने को कहा है।

 सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय की ओर से जारी बयान में  यह जानकारी दी गया है कि डिजिटल मीडिया के लिए कई अन्य सुविधाओं पर भी विचार किया जा रहा है। डिजिटल मीडिया कर्मियों को प्रिंट व इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के पत्रकारों की तरह भारत सरकार से मान्यता, चिकित्सा व अन्य सुविधाएं दी जाएंगी।

यही नहीं उन्हें प्रिंट एवं इलेक्ट्रॉनिक मीडिया की तरह डिजिटल मीडिया स्व-नियामक समूह का गठन कर सकेंगे। बयान के मुताबिक, सरकार के डिजिटल विज्ञापन भी संचार ब्यूरो के माध्यम से इन्‍हें दिए जाएंगे। 

मंत्रालय ने कहा कि फिलहाल पारंपरिक मीडिया यानी प्रिंट एवं टीवी को जो लाभ दिए गए हैं भविष्य में उन्हें उन निकायों को भी देने पर विचार किया जाएगा जो डिजिटल माध्यम से खबरों की अपलोडिंग या स्ट्रीमिंग में लगे हुए हैं।

 केंद्र सरकार ने बताया कि डिजिटल मीडिया को जिन सुविधाओं को दिए जाने पर विचार किया जाएगा उनमें उसके पत्रकारों, छायाकारों, वीडियोग्राफरों को पीआईबी मान्यता देना शामिल है। 

यही नहीं डिजिटल मीडिया के पत्रकारों, फोटोग्राफरों और वीडियोग्राफरों को सीजीएचएस लाभ, रियायती रेल किराया आदि सुविधाएं भी दी जाएंगी। 

पीआईबी सूचना

मंत्रालय की ओर से जारी बयान में बताया गया है कि यह कदम उद्योग संवर्धन एवं अंदरूनी व्यापार विभाग के मुताबिक फैसले की दिशा में उठाया गया है।

यही नहीं खबरों से जुड़े डिजिटल मीडिया में 26 फीसद प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआइ) को लेकर सरकार ने एक नया स्पष्टीकरण भी जारी किया जा चुका है। 

सरकार की ओर से जारी नए नियम के मुताबिक विदेशी निवेश हासिल डिजिटल मीडिया कंपनियों को एक वर्ष के भीतर केंद्र सरकार की मंजूरी के साथ एफडीआइ को भी 26 फीसद पर लाना होगा।

वाणिज्य व उद्योग मंत्रालय के मुताबिक निदेशक बोर्ड में शामिल 50 फीसद से अधिक निदेशक भारतीय होने चाहिए। कंपनी का सीईओ भारतीय होना चाहिए। कंपनी में अगर किसी विदेशी को 60 दिनों से अधिक के लिए भारत में नियुक्त किया जाता है तो उसका सिक्योरिटी क्लीयरेंस लेना आवश्यक होगा। 

रिपोर्ट-Harvansh Patel